सोलन: हिमाचल प्रदेश में बनाई जा रही लगभग 47 दवाओं के सैंपल फेल हो गए हैं। सैंपल फेल होने पर केन्द्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (CDSCO) ने अलर्ट जारी किया है। एक रिपोर्ट के मुताबिक़ देश की जून महीने की रिपोर्ट में लगभग 186 दवाइयों के सैंपल फेल हुए हैं।

एक बार फिर सोलन जिला में बनने वाली दवाओं के सैंपल सबसे अधिक फेल हुए हैं। केन्द्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन के अलर्ट के अनुसार सोलन जिला की 31, सिरमौर की 10, ऊना की 3, कांगड़ा की 2 और बिलासपुर की 1 दवा कंपनी के सैंपल फेल हुए हैं।
फेल होने वाली दवाओं में कैल्शियम और विटामिन डी3 टैबलेट, एमोक्सिसिलिन और पोटेशियम क्लावुलैनेट ओरल सस्पेंशन, पेट के कीड़े मारने वाली दवा, एल्बेंडाजोल टैबलेट आईपी 400mg, हाई ब्लड प्रेशर की दवा टेल्मिसर्टन और एम्लोडिपिन टैबलेट आई.पी., कोलेस्ट्रॉल कम करने की दवा उर्सोडेऑक्सीकोलिक एसिड टैबलेट आई.पी. 300 मिलीग्राम, फेरस सल्फेट और फोलिक एसिड सिरप आई.पी., एसेलोफेनाक और पैरासिटामोल टैबलेट, संक्रमण रोकने के लिए उपयोगी एमोक्सिसिलिन कैप्सूल जैसी अनेकों दवाएं शामिल हैं।
उल्लेखनीय है कि केन्द्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन दवाओं की निगरानी के लिए समय-समय पर दवा के नमूने लेकर इकठ्ठा करने के बाद गुणवत्ता जांच करने के बाद फेल दवाओं के बारे अलर्ट जारी करता रहता है।
हिमाचल में बद्दी की मेसर्स मार्टिन एंड ब्राउन बायो साइंसेज कंपनी के रेबेप्राज़ोल सोडियम इंजेक्शन आई.पी. 20 मिलीग्राम, एनरोज़ फार्मा, श्री साईं बाला जी फार्माटेक प्राइवेट लिमिटेड, सेलस फार्मास्यूटिकल्स, कोरोना रेमेडीज प्राइवेट लिमिटेड और मेसर्स एएनजी लाइफसाइंसेज इंडिया लिमिटेड के सैंपल फेल हुए हैं।
ऊना की स्विस गार्नियर लाइफ साइंसेज की ब्लड प्रेशर की दवा टेल्मिसर्टन टैबलेट आई.पी. 40, स्पेन फॉर्म्युलेशन प्राइवेट लिमिटेड और कांगड़ा के प्रेसुन बायोटेक के भी सैंपल फेल हुए हैं। इसके अतिरिक्त सिरमौर के कालाअंब की मेसर्स डच फॉर्मूलेशन्स कंपनी, मेसर्स जे.एम.एम. फॉर्मूलेशन प्राइवेट लिमिटेड, ग्नोसिस फार्मास्यूटिकल्स प्राइवेट लिमिटेड और पांवटा साहिब की मेसर्स जी लैबोरेटरीज लिमिटेड की दवाओं के भी सैंपल फेल हुए हैं।