Hills Post

आश्रय के समर्थक भड़के, प्रतिभा सिंह को दी नसीहत

Demo ---

मंडीः सांसद प्रतिभा सिंह के बयान के बाद दो परिवारों के बीच चली जुबानी जंग अब और तेज हो रही है। पहले प्रतिभा सिंह ने एक बयान जारी कि्या जिसके बाद तुरंत ही आश्रय शर्मा की प्रतिक्रिया आई। इसके बाद प्रतिभा सिंह के समर्थकों ने आश्रय शर्मा पर तीखा जुबानी हमला प्रेस नोट के माध्यम से किया। अब आश्रय शर्मा के समर्थकों ने प्रतिभा सिंह और उनके समर्थकों को लेकर एक प्रेस नोट जारी करके अपने मन की भड़ास निकाली है। पूर्व सचिव प्रदेश कांग्रेस संजीव गुलेरिया और पूर्व ब्लाक कांग्रेस अध्यक्ष सराज जगदीश रैडी ने जारी प्रेस नोट में प्रतिभा सिंह को अति महत्वकांक्षी और स्वयंभू नेताओं से दूर रहने की नसीहत दी है।

मीडिया को जारी प्रेस नोट में कहा कि सभी कांग्रेस नेताओं और कार्यकर्ताओं ने प्रतिभा सिंह की जीत के लिए मेहनत की है परंतु कुछ अति महत्वाकांक्षी नेता अपने स्वार्थ के लिए सांसद को गुमराह करने का कार्य कर रहे हैं और सांसद के दौरे के दौरान गुटबाजी को हवा देने का प्रयास भी इन्हीं स्थानीय नेताओं ने अपने निजी राजनैतिक हित के लिए किया है। प्रदेश महासचिव आश्रय शर्मा और दिग्गज नेता पंडित सुखराम ने राहुल गांधी जी के कहने पर विषम परिस्थितियों में सत्ता का त्याग कर भाजपा का मुकाबला आम लोकसभा चुनावों में किया और अब उपचुनावों में प्रतिभा सिंह के लिए भी अपने समर्थकों को उनकी जीत सुनिश्चित करने के लिए आग्रह किया।

cong jagdish readdy

प्रचार के दौरान तो प्रतिभा सिंह ने ही खुले मंच से कहा था कि आश्रय शर्मा और सुखराम परिवार का पूरा सहयोग उनको मिल रहा है परंतु कुछ स्थानीय नेताओं को पार्टी में एकता रास नहीं आई है और उन्होंने सांसद प्रतिभा सिंह को गलत फीडबैक दी है। इनमें से कुछ लोग तो ऐसे हैं जिन्होंने उपचुनाव में अपने गृह क्षेत्र का मुंह तक नहीं देखा और जीत के बाद मात्र श्रेय लेने ही सामने आए। हमें खेद है कि जब आश्रय शर्मा कोरोना से जूझ रहे हैं और पंडित सुखराम ऑपरेशन के बाद अभी पूरी तरह ठीक नहीं हुए हैं, ऐसे मौके पर भी कुछ स्वयंभू और स्वघोषित उम्मीदवारों को राजनीति ही सूझ रही है। कांग्रेस पार्टी के उम्मीदवार का चयन हाईकमान करेगी और जो भी प्रत्याशी कांग्रेस अध्यक्ष श्रीमती सोनिया गांधी चुनेंगी, उसकी जीत सुनिश्चित करने के लिए सब एकजुटता से लड़ेंगे और उन्होंने सांसद प्रतिभा सिंह को ऐसे अति महत्वाकांक्षी और पार्टी के लिए नुकसानदेह नेताओं से परहेज रखने का आग्रह है।