सनावर (सोलन): द लॉरेंस स्कूल, सनावर के ऐतिहासिक परिसर में देश के भविष्य की बुलंद आवाजें गूंज रही हैं। यहां प्रतिष्ठित इंडियन पब्लिक स्कूल मॉडल यूनाइटेड नेशंस कॉन्फ्रेंस (IPSC MUN’25) का भव्य शुभारंभ हुआ, जिसमें देश के 15 नामी स्कूलों के 200 से अधिक प्रतिभाशाली छात्र-छात्राएं वैश्विक समस्याओं का समाधान खोजने के लिए एकत्रित हुए हैं। खराब मौसम के बावजूद इन युवा प्रतिनिधियों का उत्साह देखते ही बन रहा है।

‘सामंजस्य से विजय’ के मूलमंत्र पर गंभीर चर्चा
सम्मेलन का केंद्रीय विषय “Victoria Concordia Crescit” है, जिसका अर्थ है- “सामंजस्य से विजय”। इसी मूलमंत्र को आधार बनाकर प्रतिभागियों ने युद्ध, संघर्ष, भू-राजनीति पर व्यापार के प्रभाव, तानाशाही, वित्तीय संकट, मानव तस्करी और खाद्य असुरक्षा जैसे ज्वलंत अंतरराष्ट्रीय मुद्दों पर गहन विचार-विमर्श शुरू किया। इस महत्वपूर्ण आयोजन में मेयो कॉलेज (अजमेर), सिंधिया पब्लिक स्कूल (ग्वालियर), डेली कॉलेज (इंदौर), द राजकुमार कॉलेज (राजकोट) और ताशी नामग्याल एकेडमी (गंगटोक) जैसे प्रतिष्ठित स्कूलों के छात्र भाग ले रहे हैं।
‘वसुधैव कुटुंबकम’ से ही संभव है विश्व का नवनिर्माण: न्यायमूर्ति भल्ला
सम्मेलन के उद्घाटन समारोह में मुख्य अतिथि, पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश, माननीय न्यायमूर्ति राजीव भल्ला (सेवानिवृत्त) ने युवाओं को संबोधित किया। उन्होंने कहा, “सच्चा सामंजस्य तभी संभव है जब मानवता स्वयं को एक अखंड परिवार माने और राष्ट्रों की संकीर्ण सीमाओं से ऊपर उठे। ‘वसुधैव कुटुंबकम’ की भावना से ही विश्व का नवनिर्माण हो सकता है।”
इससे पहले कार्यक्रम का शुभारंभ सांस्कृतिक नृत्य और सरस्वती वंदना के साथ हुआ।
वैश्विक दृष्टिकोण विकसित करने का मंच: प्रधानाचार्य
विद्यालय के प्रधानाचार्य हिम्मत सिंह ढिल्लों ने सभी का धन्यवाद करते हुए कहा, “इस प्रकार के मंच हमारी नई पीढ़ी में एक वैश्विक दृष्टिकोण विकसित करते हैं, जो न्याय और सामंजस्य को विश्वभर में स्थापित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।”
सम्मेलन के सेक्रेटरी जनरल विराज गुप्ता ने गैवेल (हथौड़ा) बजाकर तीन दिवसीय सत्र की औपचारिक शुरुआत की घोषणा की। अगले तीन दिनों तक ये युवा प्रतिभागी वैश्विक नागरिकता की राह पर आगे बढ़ते हुए गंभीर बहसों और संवाद के माध्यम से दुनिया की चुनौतियों का हल तलाशेंगे।