सिरसा: हरियाणा राज्य अक्षय ऊर्जा विकास एजेंसी द्वारा जिला के डिलीवरी हटों में सौर जल ताप सयंत्र लगाने का कार्य शुरु कर दिया गया है। सिरसा जिला के अब 13 गांवों के डिलीवरी हटों में 100-100 लीटर सयंत्र स्थापित किए जा चुके है। यह जानकारी देते हुए उपायुक्त सी.जी रजिनीकांथन ने बताया कि हरेडा द्वारा पूरे प्रदेश में अब तक 150 से भी अधिक डिलीवरी हटों में यह सयंत्र स्थापित किए जा चुके है। उन्होंने बताया कि सिरसा जिला में बड़ागुढ़ा, साहुवाला-प्रथम, रोड़ी, कालांवाली, कागदाना, कुम्हारिया, भरौखां, रंधावा, रामपुरा बिश्रोईया, चोरमार, नकौड़ा, लौहगढ़ और दड़बी गांव में जल ताप सयंत्र स्थापित किए जा चुके है। उन्होंने बताया कि इन सभी डिलीवरी हटों में हरियाणा राज्य अक्षय ऊर्जा विकास एजेंसी कार्यक्रम के तहत निशुल्क लगवाए जा रहे है। इन सयंत्रों की स्थापना पर एजेंसी द्वारा 3 लाख 75 हजार रुपए की राशि खर्च की जा चुकी है। एक सयंत्र पर 25 हजार रुपए की राशि खर्च हुई है।
उन्होंने बताया कि हरियाणा राज्य अक्षय ऊर्जा विकास एजेंसी द्वारा सिरसा जिला के सभी 323 गांवों में सौर ऊर्जा प्रणाली पर आधारित स्ट्रीट लाईटें लगाए जाने का कार्य शीघ्र शुरु किया जाएगा। इस कार्यक्रम के शुरुआती दौर में उन 70 गांवों का चयन किया जिनमें अनुसूचित जाति बाहुल्य लोग रहते है। इन गांवों में स्ट्रीट लाईटें लगवाने के लिए सभी प्रकार की सामग्री जिला प्रशासन के पास पहुंच चुकी है जिसकी प्रक्रिया शीघ्र शुरु कर दी जाएगी। उन्होंने बताया कि जिला के प्रत्येक गांव में 20-20 सोलर फोटोवोल्टिक स्ट्रीट लाईट लगवाई जानी है। उपायुक्त ने बताया कि अक्षय ऊर्जा विकास एजेंसी द्वारा विभिन्न गांव में व्यक्तिगत लोगों के घरों में 50 सौर जल ताप सयंत्र स्थापित किए। इन सयंत्रों पर एजेंसी द्वारा 5 हजार रुपए सब्सिडी प्रदान की गई। इसके साथ कई स्वयंसेवी संस्थाओं, स्कूलों व शिक्षण संस्थानों में भी 400 और 500 लीटर क्षमता के सयंत्र स्थापित किए जा चुके है जो सभी सफलतापूर्वक कार्य कर रहे है। उन्होंने बताया कि इन सयंत्रों के करंट लगने जैसा कोई खतरा नहीं होगा क्योंकि इनमें डी.सी (डायरेक्ट करंट) होता है। इसलिए इन्हें पूरी तरह सुरक्षित माना जाता है।
श्री कांथन ने बताया कि केंद्र सरकार द्वारा 12 करोड़ 65 लाख रुपए की इस परियोजना की स्वीकृति प्राप्त हो चुकी है। उन्होंने बताया कि इस राशि की पचास प्रतिशत राशि केंद्र सरकार और पचास प्रतिशत राशि जिला प्रशासन की विभिन्न योजनाओं के तहत वहन की जाएगी। जिला के सभी गांवों में सोलर फोटोवोल्टिक स्ट्रीट लाईटिंग सिस्टम स्थापित किया जाएगा। इस सिस्टम में 12 वोल्टेज, 75 एएच की बैटरियां और 11 वॉट की सीएफएल लगाई जाएंगी। उन्होंने बताया कि इस फोटोवोल्टिक स्ट्रीट लाईटिंग सिस्टम से गांव में लाईट एक सैकेंड भी नहीं जाएगी। इस सिस्टम पर ना ही किसी मौसम का प्रभाव पड़ेगा यानी जिला के सभी गांव रात भर रोशनी से जगमगाते रहेंगे। उन्होंने बताया कि इसके लिए ऑटोमैटिक सिस्टम लगाया जाएगा जिससे शाम के समय खुद-ब-खुद लाईट जलेगी और सुबह होते ही लाईट अपने आप बंद हो जाएगी। उन्होंने बताया कि इस लाईटिंग सिस्टम में किसी प्रकार की तारों आदि का प्रयोग भी नहीं होगा इसलिए रखरखाव पर भी ज्यादा खर्च नहीं करना पड़ेगा और बार-बार खराब होने के झंझट से भी यह सिस्टम दूर रहेगा।