शिमला: आई.सी.सी. महिला क्रिकेट विश्व कप जीतकर लौटीं भारतीय टीम की तेज गेंदबाज रेणुका ठाकुर का रविवार को अपने गृह क्षेत्र रोहड़ू पहुंचने पर जोरदार स्वागत हुआ। विजेता बेटी के आगमन पर लोगों ने ढोल-नगाड़ों व फूलमालाओं के साथ उनका ऐतिहासिक स्वागत किया।
विश्व कप विजेता रेणुका ठाकुर रविवार को रोहड़ू के अपने गांव पारसा स्थित घर पहुंचीं। घर जाने से पहले उन्होंने प्रसिद्ध हाटकोटी मंदिर में माथा टेका और आशीर्वाद लिया।

इस मौके पर रेणुका ने अपनी सफलता का श्रेय अपनी मां सुनीता ठाकुर और चाचा भूपिंद्र ठाकुर को दिया। उन्होंने कहा कि मां से ही कड़ी मेहनत करने की सीख मिली है। इस मुकाम तक पहुंचने में मेरे परिवार का बहुत बड़ा सहयोग रहा है। मेहनत की कभी हार नहीं होती।
रेणुका ने उम्मीद जताई कि इस ऐतिहासिक विश्व कप जीत के बाद लड़कियों की रुचि क्रिकेट में और भी बढ़ेगी। उन्होंने कहा कि अगले विश्व कप को जीतने के लिए भी प्रयास अभी से शुरू हो गए हैं।
टूर्नामेंट के दौरान होने वाले भारी तनाव पर बात करते हुए रेणुका ने एक दिलचस्प किस्सा साझा किया। उन्होंने कहा कि मैचों के दौरान लगातार तनाव बना रहता है। इस तनाव को दूर करने के लिए ड्रेसिंग रूम में पहले से ही हंसी-खुशी का माहौल तैयार किया जाता है। मैंने भी मोर की पेंटिंग बनाकर तनाव को दूर करने और सकारात्मक ऊर्जा लाने का प्रयास किया।
उन्होंने युवाओं को संदेश देते हुए कहा कि इस मुकाम तक पहुंचने के लिए परिवार के सहयोग के साथ-साथ दिन-रात की कड़ी मेहनत की भी जरूरत होती है।