नाहन : सिरमौर में बच्चों की सुरक्षा से जुड़ी बड़ी लापरवाही का खुलासा हुआ है। “मीनू बस” सेवा के नाम से चल रही निजी बस HP-71-1630 को आज क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी (आरटीओ) सोना चंदेल की टीम ने बिना फिटनेस, बिना पासिंग और बिना रूट परमिट के चलते जब्त कर लिया। यह बस स्कूली बच्चों को बड़ू साहिब क्षेत्र में तीन दिन से एक प्रशिक्षण कार्यक्रम के लिए ला-जा रही थी।
आरटीओ टीम ने मौके पर पहुंच कर बस को रोका और दस्तावेज मांगे, लेकिन चालक और परिचालक कोई वैध दस्तावेज पेश नहीं कर सके। जांच में सामने आया कि बस की फिटनेस समाप्त हो चुकी थी, रूट परमिट नहीं था और सीटों से अधिक बच्चों को भरकर लाया जा रहा था, जो सुप्रीम कोर्ट के स्पष्ट निर्देशों का उल्लंघन है।

बस को हायर करने वाला स्कूल प्रशासन भी सवालों के घेरे में आ गया है। उपनिदेशक उच्च शिक्षा डॉ. हमींदर बाली ने जानकारी दी कि संबंधित प्रिंसिपल को आदेश दिए गए हैं कि भविष्य में केवल फिट बसों का ही इस्तेमाल करें। अगर जांच में कोताही पाई गई तो प्रशासन की ओर से नोटिस जारी कर कार्रवाई की जाएगी।
आरटीओ चंदेल ने बताया कि बस ऑपरेटर पर अब बिना फिटनेस, बिना परमिट, बिना पासिंग, ओवरलोडिंग सहित कई धाराओं में चालान किया गया है। बस को छुड़ाने के लिए सभी टैक्स और भारी पेनल्टी भरनी होगी। साथ ही इस बस के परमिट को रद्द करने की सिफारिश भी की जा रही है।
आरटीओ सोना चंदेल, जिन्हें ‘लेडी सिंघम’ के नाम से भी जाना जाता है, ने कहा कि कम स्टाफ के बावजूद वह पूरे जिला में सख्त निगरानी रखती हैं। उन्होंने चेतावनी दी कि भविष्य में भी बसों की नियमित जांच जारी रहेगी और बच्चों की सुरक्षा के साथ कोई समझौता नहीं किया जाएगा।
सरकार और सुप्रीम कोर्ट की गाइडलाइन के बावजूद निजी ऑपरेटर केवल मुनाफे के लिए बच्चों की जान जोखिम में डाल रहे हैं। गनीमत रही कि इस बार कोई हादसा नहीं हुआ, लेकिन अगर समय रहते कार्रवाई न होती, तो कोई बड़ी दुर्घटना हो सकती थी।