नाहन: हिमाचल प्रदेश के जिला सिरमौर मुख्यालय नाहन की ऐतिहासिक धरोहर लिटन मेमोरियल हैरिटेज बिल्डिंग होने के बाद भी लम्बे समय से बदहाली की हालात में है | इस स्थान पर कभी पार्किग के कारण तो कभी पोस्टर लगाए जाने के कारण विवाद हो जाता है, लेकिन इसकी सुध लेने वाला कोई नहीं है | यूं तो इसके रख-रखाव की जिम्मेदारी नाहन नगर परिषद की है, लेकिन कोई भी बेरोकटोक पोस्टर लगा देता है और कोई कार्यवाही नहीं होती | अब 1878 में बने लिटन मेमोरियल की हर दीवार पर पोस्टर ही पोस्टर दिखाई देते हैं | लिटन मेमोरियल ही नहीं नाहन शहर के अन्य ऐतिहासिक, सरकारी भवनों व निजी भवनों की सुंदरता पर भी पोस्टर ग्रहण लगा हुआ है, आलम यह है कि नाहन शहर के अधिकतर भवन पोस्टर लगाए जाने के कारण बदहाल हैं |

दिल्ली गेट के नाम से प्रसिद्ध लिटन मेमोरियल नाहन में ही नही बल्कि समस्त हिमाचल प्रदेश में प्रसिद्ध है, लेकिन जिला प्रशासन और नगर परिषद इस ऐतिहासिक धरोहर की तरफ ध्यान नही दे पा रहे हैं । उल्लेखनीय है कि दिल्ली गेट नाहन का बस स्टॉप भी है यही कारण है की यह स्थान पोस्टर लगाने वालों को पसंदीदा स्थान रहता है | बता दें कि दिल्ली गेट के नाम से प्रसिद्ध लिटन मेमोरियल सिरमौर रियासत के समय में बनाया गया था और हिमाचल प्रदेश की यह एकमात्र ऐतिहासिक धरोहर है, जिसे दिल्ली के इंडिया गेट के समान देखा जाता है।

शहर के बुद्धिजीवी वर्ग का कहना है कि लिटन मेमोरियल एक हैरिटेज भवन है, अतः यहाँ पोस्टर चिपकाने और पार्किंग पर पूर्ण प्रतिबंधित होना चाहिए, ताकि पर्यटक इस ऐतिहासिक हैरिटेज भवन ली सुंदरता का आसानी से आनन्द उठा सकें |

वहीं इस बारे में जब नाहन नगर परिषद के कार्यकारी अधिकारी संजय तोमर से बात की गई तो उन्होंने कहा की नगर परिषद जल्द ही पोस्टर लगाने वाले लोगों के विरुद्ध कार्यवाही करने जा रही है तथा पोस्टर लगाने वालों से जुर्माना वसूला जाएगा |

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